6. जीवंत, अनिवार्य एवं वांछनीय विश्लेषण-VED विश्लेषण योजना
Table of Contents
(Vital, Essential and Desirable (VED) Analysis Plan]
Vital, Essential तथा Desirable अर्थात जीवंत. अनिवार्य तथा वांछनीय विश्लेषण मुख्यत: Spare Parts पर नियन्त्रण रखने के लिए प्रयोग किया जाता है। ARC समीक्षा में कीमत के कारण ऐसे पाटर्स पर ध्यान नहीं दिया जाता जबाक VED विश्लेषण से प्रभावपूर्ण परिणाम प्राप्त होते हैं।
संक्षेप में, यह वर्गीकरण मुख्यतया मशीन के पों के भण्डारण में महत्वपूर्ण है। इसमें सभी प्रकार के पुों को उनके महत्व के अनुसार निम्नलिखित तीन भागों में बाँट सकते हैं
(i) ‘V’for Vital-इस वर्ग में उन पूों को रखते हैं जिनके बिना उत्पादन सम्भव ही न हो, जैसे मशीन की सुई।
(ii) ‘E’ for Essential-इस वर्ग में उन पुों को रखते हैं जिनके बिना उत्पादन तो सम्भव है परन्तु जिनके न होने पर उत्पादन क्षमता काफी प्रभावित होती है, जैसे-मशीन का तेल।
(ii) ‘D’ for Desirable-इनसे उत्पादन पर विशेष प्रभाव नहीं पड़ता परन्तु मशीन व श्रमिकों की सुरक्षा तथा मशीन की दीर्घकालीन क्षमता बनाये रखने के लिए उपयुक्त होते हैं, जैसे-मशीन का कवर।
विभिन्न प्रकार के पुों का भण्डारण करते समय इस बात का विशेष ध्यान रखा जाता है कि संस्था में महत्वपूर्ण पुर्जी का स्टॉक हमेशा बना रहे जिससे उत्पादन कार्य में बाधा उत्पन्न न हो।
B com 2nd Year Material Control Concept and Techniques Study Material in Hindi
7. सामग्री/स्कन्ध आवर्त अनुपात
(Material/Inventory Turnověr Ratio)
सामग्री आवर्त से आशय एक निश्चित अवधि में उपयोग की हुई सामग्री की मात्रा तथा संग्रहागार में उपलब्ध सामग्री की औसत मात्रा के अनुपात से है। इस अनुपात से यह ज्ञात हो जाता है कि सामग्री कितने दिनों तक स्टोर्स में पड़ी रहती है अर्थात् यह अनुपात यह जानकारी प्रदान करता है कि एक निश्चित अवधि में औसत सामग्री का कितनी बार उपयोग हो रहा है। यह अनुपात प्रयुक्त सामग्री के मूल्य में औसत स्टॉक मात्रा का भाग देकर ज्ञात किया जाता है। सूत्र रूप में
सामग्री/स्कन्ध आवर्त अनुपात की दिनों में गणना (Determination of Material Inventory Ratio in Days)—इससे यह जानकारी मिलती है कि कितने दिनों में औसत स्टॉक का उपयोग हो रहा है। स्कन्ध आवर्त अनुपात की गणना दिनों में करने हेतु निम्नलिखित सूत्र का प्रयोग किया जाता है
सामग्री आवर्त का निम्न अनुपात (Low Ratio) इस बात का सूचक है कि सामग्री अप्रचलित (Obsolete) है या उसका स्टॉक अधिक है। इसके विपरीत सामग्री आवर्त का उच्च अनुपात (High Ratio) यह दर्शाता है कि सामग्री में सम्मिलित मदें। शीघ्र उपभोग में आ रही हैं। अत: इसमें विनियोग की मात्रा न्यूनतम रखी जा सकती है।
विभिन्न प्रकार की सामग्रियों का आवर्त ज्ञात करना इसलिए आवश्यक है कि कम आवर्ध सामग्री (Slow Moving Stock) का पता लगाया जा सके और उसमें होने वाले अनावश्यक विनियोग को रोका जा सके।
‘मंद गति मदों को तीन प्रकार से वर्गीकृत करते हैं-(a) मंद गति स्टॉक (Slow-moving Stock), (b) निष्क्रिय स्टॉक (Dormant Stock), (C) अप्रचलित स्टॉक (Obsolete Stock)।
Working
Illustration
निम्नलिखित आँकडों से सामग्री की दो मदों के स्कन्ध आवर्त अनुपात की गणना कीजिए एवं उन पर अपनी टिप्पणी भी दीजिए ।
from the following data , Calculate the Inventory turnover ratio of the two items and put forward your comments on them .